
रुद्राभिषेक और पूर्णाहुति के साथ पूरे सावन भर चलने वाले भव्य रुद्राभिषेक कार्यक्रम हुआ संपन्न
दया शंकर चौधरी।
लखनऊ। निगोहां के उतरावां गांव में गौ के गोबर और मिट्टी से निर्मित 300 वर्ष प्राचीन मंदिर के प्रांगण में ऋणमुक्तेश्वर महादेव मंदिर में पूरे सावन माह चलने वाले भव्य रुद्राभिषेक कार्यक्रम का समापन आज 11 अगस्त को रुद्राभिषेक और पूर्णाहुति के साथ हो गया है।
इस अवसर पर गौ माता को भोजन कराकर राधारानी के चरणो में प्रार्थना की गई कि उत्तर प्रदेश में गौ माता को राज माता का दर्जा मिले। कार्यक्रम के संबंध में जितेंद्र सिंह ने बताया कि पूरे सावन भर चलने वाले रुद्राभिषेक कार्यक्रम का प्रारंभ 10 जुलाई को शुरू हुआ था। जिसमे आचार्य शिवम द्विवेदी प्रतिदिन मुख्य यजमान शैलेन्द्र सिंह चौहान और उनकी धर्मपत्नी श्रीमती चित्ररेखा सिंह के साथ भक्तो को हरिनाम कीर्तन और पूजा अर्चना के बाद रुद्राभिषेक का महत्व बताते हुए रुद्राभिषेक करवाते थे। इस अवसर पर गौ सेवा की महिमा का बखान कर उनके महत्व पर प्रकाश डालते थे। उनका यह कहना था कि शिवलिंग पर देशी गौ माता का दूध और गंगा जल चढ़ाने से भोले बाबा बहुत प्रसन्न होते है। इसलिए पूरे सावन माह रुद्राभिषेक में देशी गौ माता के दूध का ही प्रयोग किया गया। आज रुद्राभिषेक और पूर्णाहुति कार्यक्रम के बाद आचार्य शिवम द्विवेदी ने श्री कृष्ण जन्मअष्टमी एवं भाद्रपद मास के महत्व को भी श्रद्धालु जनों से साझा किया |
उन्होंने कहा कि भगवान कृष्ण का प्राकट्य दिवस हम मनाते है और इसी मास की शुक्ल पक्ष की अष्टमी को जिसे राधाष्टमी कहा जाता है वह राधारानी का प्राकट्य दिवस होता है और अष्टमी तिथि गौ माता की भी प्राकट्य तिथि है। उन्होंने यह भी बताया की गौ माता की महिमा अपार है। सनातन धर्म में 16 संस्कार है और कोई भी संस्कार ऐसा नही जो गौ माता के बिना पूरा होता हो इसलिए आज हम सबको मिलकर राधारानी के चरणो में प्रार्थना करनी चाहिए कि उत्तर प्रदेश में गौ माता को राज माता का दर्जा मिले।
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